India News (इंडिया न्यूज),  AI Death Clock News: मौत का रहस्य हमेशा से मानवता के लिए एक गहरी जिज्ञासा और चिंता का विषय रहा है। प्राचीन समय से ही लोग ज्योतिष और अन्य तरीकों से अपनी मृत्यु का समय जानने की कोशिश करते रहे हैं। लेकिन आधुनिक तकनीक ने इस जिज्ञासा को एक नई दिशा दी है। अब AI (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) के माध्यम से एक ऐप डेथ क्लॉक के रूप में मौत की तारीख और समय की भविष्यवाणी कर रहा है।

क्या है डेथ क्लॉक?

डेथ क्लॉक एक AI आधारित ऐप है, जो लोगों की मौत की तारीख और समय का अनुमान लगाने का दावा करता है। इसे ब्रेंट फ्रैनसन नामक डेवलपर ने बनाया है। यह ऐप जुलाई 2024 में लॉन्च हुआ था और अब तक इसे 125,000 बार डाउनलोड किया जा चुका है। हालांकि, इस सेवा का लाभ केवल पेड यूजर्स ही उठा सकते हैं।

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डेथ क्लॉक का डेटा और एल्गोरिदम

इस ऐप का सबसे बड़ा सवाल यह है कि यह मौत की भविष्यवाणी कैसे करता है? डेथ क्लॉक के AI मॉडल में 53 मिलियन लोगों के 1,200 से अधिक लाइफ एक्सपेक्टेंसी डेटा शामिल हैं। इस डेटा के माध्यम से यह ऐप व्यक्ति की मृत्यु की संभावित तारीख और समय का अनुमान लगाता है।

कैसे काम करता है डेथ क्लॉक?

डेथ क्लॉक कुछ महत्वपूर्ण जानकारियां इकट्ठा करता है, जैसे:

  • डाइट (आपका खान-पान)
  • एक्सरसाइज (आप कितनी शारीरिक गतिविधि करते हैं)
  • स्ट्रेस लेवल (तनाव का स्तर)
  • स्लीप आवर्स (आप कितने घंटे सोते हैं)

इन डेटा पॉइंट्स का विश्लेषण कर AI संभावित मृत्यु तिथि का अनुमान लगाता है। यह न केवल आपके मृत्यु की तारीख बताता है बल्कि आपकी जीवनशैली में सुधार के सुझाव भी देता है।

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डेथ क्लॉक की फीस और लोकप्रियता

डेथ क्लॉक का इस्तेमाल मुफ्त में नहीं किया जा सकता। इसके लिए यूजर्स को $40 (लगभग 3,400 रुपए) प्रति वर्ष शुल्क देना पड़ता है। इस ऐप को हेल्थ और फिटनेस कैटेगरी में टॉप पर रखा गया है और यह तकनीकी रूप से भी काफी उन्नत है।

क्या मौत को टाला जा सकता है?

डेथ क्लॉक की सबसे रोचक विशेषता यह है कि यह सिर्फ भविष्यवाणी ही नहीं करता, बल्कि जीवनशैली में सुधार के सुझाव भी देता है। डेवलपर ब्रेंट फ्रैनसन का कहना है कि यह ऐप यूजर्स को मृत्यु की तारीख तो बताता ही है, साथ ही यह भी सलाह देता है कि कैसे कुछ आदतें बदलकर जीवन को लंबा किया जा सकता है।

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नैतिक और मनोवैज्ञानिक पहलू

हालांकि डेथ क्लॉक जैसी तकनीक एक नई दिशा में कदम है, लेकिन इसके नैतिक और मनोवैज्ञानिक प्रभावों पर भी चर्चा जरूरी है:

1. मानसिक दबाव: क्या मृत्यु की भविष्यवाणी जानना मानसिक तनाव बढ़ा सकता है?

2. सटीकता: क्या AI की भविष्यवाणी भरोसेमंद है? मनुष्य का जीवन कई अप्रत्याशित परिस्थितियों पर निर्भर करता है।

3. आशा या हताशा: यह भविष्यवाणी कुछ लोगों के लिए प्रेरणा बन सकती है, तो कुछ के लिए निराशा।

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डेथ क्लॉक एक दिलचस्प और विवादास्पद तकनीक है जो मानव जीवन की सबसे बड़ी अनिश्चितता—मृत्यु—की भविष्यवाणी करने का दावा करती है। हालांकि, इस तकनीक का सही इस्तेमाल जीवनशैली सुधारने के लिए किया जा सकता है। मृत्यु की तारीख जानने की चाहत नई नहीं है, लेकिन AI के माध्यम से इस तरह की सेवाएं समाज में एक नई बहस को जन्म दे सकती हैं।