India News (इंडिया न्यूज़), Electric Scooterनई दिल्ली: इलेक्ट्रिक स्कूटर बनाने वाली कंपनियों के लिए केंद्र सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। लगभग आधा दर्जन कंपनियों पर शिकंजा कसने की तैयारी है। इनमें FAME II स्कीम के तहत गलत तरीके से सब्सिडी का दावा करने वाले मैन्युफैक्चरर शामिल होंगे। सरकार जल्द ऐसी कंपनियों पर कार्रवाई कर सकती है।

होगी सख्त कार्रवाई

दोषी पाए जाने पर इन कंपनियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। भविष्य में इन्हें सरकारी सब्सिडी का फायदा लेने से रोक दिया जाएगा। साथ ही इन्हें पिछले 15 महीनों में बेचे गए व्हीकल्स पर छूट नहीं दी जाएगी। इसके अलावा सरकार कुछ अन्य फैसलों पर भी विचार कर रही है।

लोकल सोर्सिंग नॉर्म्स का उल्लंघन

 

Electric Vehicle, PC- Social Media

केंद्र सरकार ने व्हीकल टेस्टिंग एजेंसियों ARAI और iCAT द्वारा पूछताछ के लिए पेंडिग 13 फर्मों के सब्सिडी डिसबर्सल को रिजेक्ट कर दिया था। इसमें कुल 1,400 करोड़ रुपये की सब्सिडी रिजेक्ट की गई थी। इन कंपनियों ने लोकल सोर्सिंग नॉर्म्स का उल्लंघन किया है। कंपनियों ने अपने व्हीकल्स में चाइना से इंपोर्ट किए हुए कंपोनेंट्स का इस्तेमाल किया है।

7 कंपनियों को नोटिस

भारत सरकार ने पिछले महीने 7 इलेक्ट्रिक व्हीलर कंपनियों को नोटिस भेजा था। इन्हें 500 करोड़ रुपये का रिकवरी नोटिस भेजा गया था। इनमें हीरो इलेक्ट्रिक, बेनलिंग इंडिया, लोहिया ऑटो, एएमओ मोबिलिटी, ओकिनावा ऑटोटेक, एम्पायर ईवी, रिवोल्ट मोटर्स शामिल हैं। सरकार के अनुसार इन कंपनियों ने इंसेंटिव के लिए लोकल सोर्सिंग नॉर्म्स का उल्लंघन किया है। लोकल सोर्सिंग नॉर्म्स फेम II के तहत ही आता है।

क्या है FAME II सब्सिडी?

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FAME का मतलब फास्टर एडॉप्शन एंड मैन्युफैक्चरिंग ऑफ इलेक्ट्रिक व्हीकल्स है। भारत में इलेक्ट्रिक व्हीकल्स को बनाने और उनके इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए इसकी शुरूआत की है। FAME II सब्सिडी इलेक्ट्रिक व्हीकल खरीदने वाले को कम कीमत में दिया जाने वाला बेनिफिट है।

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