India News (इंडिया न्यूज)Nitish Kumar Iftar Party boycott: जमीयत उलेमा-ए-हिंद (जेयूएच) ने लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) द्वारा आयोजित इफ्तार पार्टी का बहिष्कार करने का फैसला किया है। अब इस मामले पर केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान का बयान सामने आया है। उनका कहना है कि वह जेयूएच प्रमुख अरशद मदनी के फैसले का सम्मान करते हैं लेकिन वह मदनी से अनुरोध करते हैं कि वह इस बारे में दोबारा सोचें। सोमवार को होने वाली इफ्तार पार्टी की तैयारियों का जायजा लेने पहुंचे हाजीपुर के सांसद चिराग पासवान ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा, ‘मैं मदनी साहब का बहुत सम्मान करता हूं। मैं उनके फैसले का सम्मान करता हूं, लेकिन मैं उनसे आग्रह करूंगा कि वह थोड़ा सोचें कि क्या आरजेडी जैसे हमारे विरोधी, जो मुसलमानों के स्वयंभू चैंपियन हैं, अल्पसंख्यक समुदाय के हितों की रक्षा करने में सक्षम हैं।’

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इफ्तार, ईद मिलन समारोह में शामिल न होने का फैसला

दरअसल, जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रमुख अरशद मदनी ने शनिवार (22 मार्च) को घोषणा की थी कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद नीतीश कुमार, चंद्रबाबू नायडू और चिराग पासवान जैसे स्वयंभू धर्मनिरपेक्ष नेताओं द्वारा आयोजित इफ्तार, ईद मिलन और ऐसे अन्य कार्यक्रमों में शामिल नहीं होगा। मदनी ने इन नेताओं पर मुसलमानों पर हो रहे अत्याचारों पर चुप रहने का आरोप लगाया था, साथ ही आरोप लगाया था कि वक्फ बिल पर उनके अस्पष्ट रुख से नेताओं का दोहरा मापदंड स्पष्ट हो गया है।

‘मुसलमानों के लिए आरजेडी ने क्या किया’

साथ ही चिराग पासवान ने कहा कि ‘मेरे दिवंगत पिता और राजनीतिक गुरु रामविलास पासवान ने एक बार बिहार का मुख्यमंत्री एक मुसलमान को बनाने के लिए अपना पूरा राजनीतिक जीवन दांव पर लगा दिया था।’ मंत्री ने कहा, ‘मैं यह जरूर कहूंगा कि जिन्हें उन्होंने मुस्लिम समाज का ठेकेदार बनाना सही समझा है, क्या वे उनके हितों की रक्षा कर पा रहे हैं। जो लोग आरजेडी के इफ्तार में जा रहे हैं, उनसे भी पूछा जाना चाहिए कि उन्होंने मुसलमानों के लिए क्या किया है?

‘बिहार में हो रही आपराधिक घटनाएं चिंताजनक’

इसके साथ ही चिराग पासवान ने बिहार में हो रही आपराधिक घटनाओं पर भी चिंता जताई। उन्होंने कहा कि बिहार में आपराधिक घटनाएं बढ़ी हैं, जो चिंता का विषय है। बिहार सरकार ने इस मामले को काफी गंभीरता से लिया है। उन्होंने कहा, ‘मैं केंद्र सरकार का हिस्सा जरूर हूं, लेकिन राज्य सरकार में भागीदार होने के नाते मैंने समय-समय पर इन मुद्दों पर आवाज उठाई है।’

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