India News (इंडिया न्यूज),Delhi Mayor Election: दिल्ली को इस माह भी नया मेयर नहीं मिल पाएगा, क्योंकि मौजूदा महापौर शैली ओबरॉय ने 28 अक्तूबर को होने वाली एमसीडी सदन की बैठक में मेयर चुनाव नहीं कराने का फैसला किया है। एमसीडी ने मेयर चुनाव की प्रक्रिया शुरू करने के लिए उन्हें फाइल भेजी थी, और आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने भी पत्र भेजकर जल्द चुनाव कराने की मांग की थी, लेकिन इसके बावजूद मेयर ने इस बैठक में चुनाव न कराने का निर्णय लिया।

अनुसूचित जाति आयोग ने मांगी थी रिपोर्ट

राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग ने मेयर चुनाव में देरी को लेकर 15 दिन के भीतर रिपोर्ट तलब की थी। इसी को ध्यान में रखते हुए उम्मीद की जा रही थी कि अक्तूबर में चुनाव हो जाएगा, लेकिन 28 अक्तूबर की बैठक में चुनाव नहीं कराने का फैसला दिल्ली की राजनीति को और गरमा सकता है। इस वर्ष मेयर का पद अनुसूचित जाति के पार्षद के लिए आरक्षित है, और इस कारण अप्रैल से ही चुनाव की प्रतीक्षा हो रही है।

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सुप्रीम कोर्ट में लंबित मामला

वहीं, एमसीडी ने उपराज्यपाल को मेयर चुनाव की रिपोर्ट न भेजने का फैसला किया है और यह मामला अब उपराज्यपाल के रुख पर निर्भर करेगा। वर्तमान में मेयर ने वार्ड समितियों के चुनाव और स्थायी समिति के एक सदस्य के उपचुनाव के लिए उपराज्यपाल की ओर से पीठासीन अधिकारी नियुक्त करने के मामले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी हुई है, जिससे चुनाव प्रक्रिया में देरी हो रही है। इस देरी पर भाजपा और आम आदमी पार्टी एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रहे हैं, जबकि कांग्रेस दोनों दलों पर दलितों का हक छीनने का आरोप लगा रही है।

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