India News (इंडिया न्यूज़), Veer Hanuman: हिन्दू धर्म के महान संत, देवता और भगवान श्री राम के भक्त के रूप में जाने वाले वीर बजरंग बली हनुमानजी के नाम से जाने भी जाते हैं। श्री राम ने उन्हें चिरंजीवी रहने का वरदान दिया है। हनुमान जी को शिव जी का 11 वां रूद्र अवतार माना जाता है।हनुमान जी के बचपन का नाम मारुति था।इसके अतिरिक्त बजरंगबली को 12 नमो से जाना जाता है। हनुमान वानरों के राजा केसरी और उनकी पत्नी अंजना के छः पुत्रों में सबसे बड़े और पहले पुत्र हैं। रामायण के अनुसार वे जानकी के अत्यधिक प्रिय हैं। इस धरा पर जिन सात मनीषियों को अमरत्व का वरदान प्राप्त है, उनमें बजरंगबली भी हैं। बजरंग बली के नाम हनुमान के पीछे भी एक कथा बहुत प्रचलित है।
कैसे हुआ था अंजनी पुत्र का जन्म?
Veer Hanuman
पौराणिक कथा के अनुसार त्रैतायुग में राजा दशरथ अपनी तीन पत्नी कौशल्या, सुमित्रा और कैकेयी के साथ पुत्र प्राप्ति के लिए हवन करवा रहे थे। हवन समाप्ति के बाद गुरुदेव ने प्रसाद की खीर राजा दशरथ की तीनों रानियों को बांटी।उस खीर का एक हिस्सा कौआ देवी अंजना के पास ले गया, जहां माता अंजना पुत्र प्राप्ति के लिए शिव जी की तपस्या कर रही थी। माता अंजना के हाथ पर कौआ ने खीर गिरा दी थी और अंजना ने उसे शिव जी का पार्षद समझ कर ग्रहण कर लिया। इस प्रसाद की वजह से माता अंजना के पुत्र वीर बजरंगी का जन्म हुआ। मान्यता के अनुसार इन्हें हनुमान जी के जन्म के पीछे पवन देव का भी योगदान था, इसलिए यह पवन पुत्र भी कहलाए गए।
Aaj Ka Panchang: 22 अप्रैल 2024 का पंचांग, जानें आज का शुभ और अशुभ मुहूर्त- indianews
पवन पुत्र को क्यों कहा जाता है हनुमान?
Veer Hanuman
इसके पीछे एक प्रचलित कथा है की बजरंग बली जब छोटे थे तो उन्हें बहुत भूख लगती थी। माता अंजनी ने पुत्र हनुमान को फल खाने के लिए बाहर भेजा। बजरंग बली भूख से व्याकुल हो रहे थे। वे बाहर गए और फल खाने लगे तभी उन्हें आसमान में चमकता हुआ सूरज दिखाई दिया। बजरंग बली ने सूर्य को फल समझ लिया और उन्होंने अपनी शक्ति से लंबी छलांग लगाकर सूर्य के पास पहुंच गए।
केसरी नंदन ने सूर्य को अपने मुंह में रख लिया जिसके बाद पूरे संसार में अंधेरा छा गया।जिसकी वजह से सभी देवी देवताओं में हाहाकार मच गया।तब सभी देव इंद्र के पास गए और कहा की एक वानर ने सूर्य देव को अपने मुंह में रख लिया है। इंद्र देव ने वज्र लहराया और बजरंग बली की ठोड़ी पर प्रहार कर दिया। जिसकी वजह से बजरंग बली के जबड़े में चोट लग गई । इंद्र देव का ये कदम पवन देव को पसंद नही आया। हनुमान दो शब्दो से मिलकर बना है हनु अर्थात ठोड़ी और मान मान का अर्थ विरूपति है।ठोड़ी पर चोट लगने की वजह से ही बजरंग बली का नाम हनुमान पड़ा।
Vastu Tips: घर पर भूलकर भी न लगाएं ये तस्वीर, हो जाएंगे बर्बाद!
जानें हनुमान जी के 12 नाम
मान्यता के अनुसार बजरंग बली के 12 नामों का जाप करने से ना सिर्फ भक्त की उम्र बढ़ती है। बल्कि उन्हें संसार के सारे सुख प्राप्त होते हैं। सुबह जल्दी उठकर जिस अवस्था में हों उसी अवस्था में हनुमान जी के 12 नामों का 11 बार जाप करने से व्यक्ति की उम्र बढती है।
Veer Hanuman
वीर बजरंगी के 12 नाम
1- ॐ हनुमान
2- ॐ अंजनी सुत
3- ॐ वायु पुत्र
4- ॐ महाबल
5- ॐ रामेष्ट
6- ॐ फ़ाल्गुण सखा
7- ॐ पिंगाक्ष
8- ॐ अमित विक्रम
9- ॐ उदधिक्रमण
10- ॐ सीता शोक विनायक
11- ॐ लक्ष्मण प्राण दाता
12- ॐ दशग्रीव दर्पहा
Shani Dosh Upay: शनि की साढ़े साती हो गए हैं परेशान, दूर करने के लिए करें ये खास उपाय