India News (इंडिया न्यूज),Piles: बवासीर एक गंभीर बीमारी है जो गुदा और मलाशय क्षेत्र में होती है। इसमें गुदा के आसपास की नसें सूज जाती हैं। इसके कारण गुदा के अंदर या बाहर गांठें बन जाती हैं। बवासीर का इलाज आयुर्वेद से भी किया जा सकता है। इसके साथ ही कुछ घरेलू उपायों से बवासीर को दो दिन में जड़ से खत्म किया जा सकता है और सर्जरी की भी जरूरत नहीं पड़ेगी। बवासीर एक ऐसी समस्या है जिससे कई लोग परेशान रहते हैं। यह समस्या खास तौर पर कब्ज के कारण होती है।
बवासीर कितने प्रकार की होती है
अगर बवासीर का समय रहते इलाज न किया जाए तो सर्जरी की जरूरत पड़ सकती है। बवासीर मुख्य रूप से दो प्रकार की होती है, आंतरिक और बाहरी। दोनों ही प्रकार में दर्द, जलन, खून आना और खुजली जैसे लक्षण होते हैं। बवासीर का इलाज आमतौर पर दवाओं या सर्जरी से किया जाता है, लेकिन आयुर्वेद ने एक ऐसा घरेलू उपाय बताया है जिससे बवासीर सिर्फ दो दिन में ठीक हो जाएगी और सर्जरी की भी जरूरत नहीं पड़ेगी। आइए जानते हैं उस घरेलू उपाय के बारे में।
बवासीर के लिए देसी आयुर्वेदिक उपाय
बवासीर के उपचार में भांग के ताजे पत्तों का इस्तेमाल बहुत फायदेमंद साबित होता है। इसके लिए आपको भांग के पत्तों को अच्छी तरह से धोकर, पीसकर पतला पेस्ट बनाना है। फिर इसमें दही मिलाकर इस मिश्रण को मलहम की तरह बना लें। इस मिश्रण को फ्रिज में रख दें और शौच से आने के बाद अपने गुदा पर लगाएं। यह उपाय बवासीर के सभी प्रकार के मस्से और जलन को दूर करने में मदद करता है। इसके असर से आपको सिर्फ दो दिन में आराम मिल सकता है।
व्यायाम है ज़रूरी
कब्ज के कारण मल त्याग ठीक से नहीं हो पाता और ज़्यादा दबाव डालना पड़ता है, जिससे गुदा और मलाशय की नसों पर दबाव बढ़ जाता है और वे सूजने लगती हैं। इसके अलावा लंबे समय तक बैठे रहना, कम फाइबर वाला खाना, गर्भावस्था, मोटापा, ज़्यादा मसालेदार खाना, पानी की कमी और आनुवंशिक कारणों से भी बवासीर हो सकती है। बवासीर से बचने के लिए फाइबर युक्त आहार खाना, पर्याप्त पानी पीना, लंबे समय तक बैठने से बचना और हल्का व्यायाम करना बहुत जरूरी है। इसके अलावा गर्म पानी की सिकाई करने से दर्द और सूजन से राहत मिल सकती है।
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