India News (इंडिया न्यूज), Sambhal Violence: संभल जिले में शाही जामा मस्जिद में रविवार को हुए सर्वे को लेकर भड़की हिंसा के बाद अब उत्तर प्रदेश पुलिस का एक्शन तेज हो गया है। उत्तर प्रदेश सरकार ने हिंसा के दौरान सार्वजनिक संपत्ति के नुकसान की भरपाई उपद्रवियों से करने का निर्णय लिया है। इस क्रम में सरकार ने आरोपियों की पहचान के लिए उनके पोस्टर सार्वजनिक जगहों पर लगाने का आदेश दिया है। हिंसा के दौरान के कई वीडियो सामने आए हैं, जिनके आधार पर पुलिस आरोपियों की तलाश कर रही है। अब तक हिंसा में करीब 100 नकाबपोश दंगाइयों की पहचान की जा चुकी है।

पत्थरबाज महिला का वीडियो वायरल

संभल हिंसा का एक नया वीडियो सामने आया है, जिसमें यह साबित होता है कि पत्थरबाजी में महिलाएं भी शामिल थीं। वीडियो में स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है कि महिलाएं छतों से पत्थर फेंक रही हैं। रविवार को हुई इस हिंसा में महिलाएं भी पुलिस पर पत्थर फेंकते हुए दिखाई दीं। पुलिस अब इस वीडियो के आधार पर पत्थरबाजी करने वाली महिलाओं की तलाश कर रही है। यह वीडियो मस्जिद के पास स्थित हिन्दू खेड़ा इलाके का है। पत्थरबाजी के बाद इस इलाके के सभी घरों पर ताले लगे हुए हैं और परिवार अपने घरों से फरार हैं। पुलिस ने अब तक इस इलाके से तीन पत्थरबाज महिलाओं को गिरफ्तार किया है।

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25 आरोपियों की हो चुकी है गिरफ्तार

संभल के मोहल्ला कोट पूर्वी स्थित मुगलकालीन जामा मस्जिद में रविवार को अदालत के आदेश पर सर्वे किया जा रहा था। सर्वे का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों ने पुलिस से भिड़कर हिंसा शुरू कर दी थी। इस हिंसा में चार लोगों की मौत हो गई थी और कम से कम 25 लोग घायल हुए थे, जिनमें एक उप जिलाधिकारी भी शामिल है। इस दौरान पथराव और आगजनी में सार्वजनिक संपत्ति को भी नुकसान हुआ। अब तक इस मामले में सात मुकदमे दर्ज किए गए हैं और 25 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। हिंसा में समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर रहमान बर्क और सपा विधायक इकबाल महमूद के बेटे सुहेल के खिलाफ भी एक मुकदमा दर्ज किया गया है।

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