राकेश सिंह की रिपोर्ट, India News (इंडिया न्यूज),  Amit Shah Mahayuti Meeting: महाराष्ट्र में इतना तो साफ हो गया है कि कहीं न कहीं अब बीजेपी का ही मुख्यमंत्री होने जा रहा है। एकनाथ शिंदे ने बुधवार को कहा कि वे सरकार के गठन में बाधा नहीं बनेंगे और पीएम नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह के लिए गए किसी भी निर्णय को अंतिम मानेंगे। शिंदे के बयान के बाद तमाम अटकलों पर विराम लग गया है और अब पूर्व में मुख्यमंत्री रहे देवेंद्र फडणवीस का फिर से सीएम बनना तय माना जा रहा है। बताया ये भी जा रहा है कि महाराष्ट्र के सीएम पद के नाम को लेकर स्थिति साफ हो जाएगी।

अटकलें ये भी लगाई जा रही हैं कि गुरुवार को दिल्ली में अमित शाह से प्रफुल्ल पटेल, अजीत पवार, देवेंद्र फडणवीस और एकनाथ शिंदे सहित गठबंधन के सभी नेता मिलने वाले हैं जहां नाम फाइनल होने की उम्मीद है।

सीएम के अलावा आज होगा ‘मंत्रियों’ पर फैसला

दिल्ली में अमित शाह से मुलाकात के लिए महायुती के बड़े नेताओं का पहुंचना जारी है। यहां ये भी बता दें कि आज की बैठक में देवेंद्र फडणवीस, एकनाथ शिंदे, अजित पवार, प्रफुल पटेल के कई और नेता शामिल होंगे। आज की बैठक में पूरा खाका तैयार हो जाएगा। कौन सीएम होगा साथ कितने मंत्री किस दल से होंगे। फडणवीस ने बुधवार को कहा कि जवाब जल्द ही दिया जाएगा, क्योंकि विचार विमर्श जारी है।

दिल्ली में ये क्या हो रहा है? Amit Shah ने दिखाया रौद्र रूप, लगाई दिग्गजों की ऐसी क्लास…घंटों में निपट गया काम

किसके कितने मंत्री, ये भी होगा तय

अन्य मंत्री पदों के बारे में फडणवीस ने कहा कि पहले मुख्यमंत्री के फैसले को अंतिम रूप दिया जाएगा, उसके बाद ही बाकी नियुक्तियां की जाएंगी। वहीं, इससे पहले शिवसेना नेता संजय शिरसाट ने दावा ठोकते हुए कहा कि अगला मुख्यमंत्री शिवसेना से होना चाहिए। शिरसाट ने आगे कहा कि हम चाहते हैं कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के जो नेतृत्व में चुनाव लड़ा था और मुझे ये विश्वास है कि शीर्ष नेतृत्व उनका समर्थन करेंगे। हालांकि यहां ये क्लियर कर दें कि बुधवार को एकनाथ शिंदे ने खुद को सीएम पद के दावे से अलग कर लिया है।

हो गया INDIA गठबंधन का अंत? Mamata Benarjee ने राहुल गांधी को दिया ऐसा धोखा, उड़ जाएंगे कांग्रेस के होश

बीजेपी में बैठकों का दौर जारी है। बुधवार को नए सीएम के नाम के ऐलान को लेकर अमित शाह और बीजेपी महासचिव विनोद तावड़े के बीच अहम बैठक हुईं, जो करीब 40 मिनट तक चलीं। सूत्रों से मिली जानकारी के आधार पर बता दें कि इस बैठक में केंद्र नेतृत्व, महाराष्ट्र में मराठा और गैर-मराठा के समनवय को लेकर विस्तृत रूप से चर्चा की गई।