India News (इंडिया न्यूज़),First Temple in UAE: :अबू धाबी में रेगिस्तान के बीच पश्चिम एशिया का सबसे बड़ा हिंदु मंदिर हुआ बनकर तैयार। लाल पत्थर से बना यह मंदिर आम जनता के लिए खुलने को है तैयार। इस मंदिर के निर्माण में 18 लाख से भी अधिक ईंट का इस्तेमाल किया गया है। मंदिर को बनाने में 700 करोड़ रुपए से भी ज्यादा का खर्च आया है।

इसमें देश के सात अमीरातों का प्रतिनिधित्व करने वाली सात मिनारें हैं। इसका निर्माण 27 एकड़ की भूमि पर हुआ है। यहां राजस्थान से मंगाए गुलाबी पत्थर और इटली के संगमरमर का इस्तेमाल हुआ है। यूएई के राष्ट्रपति शेख मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान नें यह जमीन दान में दी है। मंदिर के कुछ तथ्य और विशेषताएं, जो विजिटर्स को आकर्षित करने की उम्मीद है।

इस दिन होगा उद्घाटन

यह मध्य पूर्व का पहला पारंपरिक हिेंदु मंदिर है जिसका उद्घाटन 14 फरवरी को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे। यह मंदिर धर्म और संस्कृति का प्रतीक है। इस मंदिर में रखी देवी-देवताओं की मुर्तियां भारत में ही बनकर तैयार हुई हैं। यह सहिष्णुता और विविधता के प्रति यूएई की प्रतिबद्धता का प्रतीक है।

मंदिर में सात टावर और शिखर है और इन डिजाइन के भीतर सात मंदिर हैं जो रामायण, महाभारत, भागवतम, और शिव पुराण की कहानियों का वर्णन करते हैं। परिसर के भीतर एक प्रतीकात्मक झरना तीन पवित्र नदियां- गंगा, यमुना और सरस्वती के उद्गम को दर्शाती हैं। मंदिर में पानी की सुविधा एक फुडकोर्ट, बच्चों के खेल की सुविधा, बुक स्टॉल और उपहार की सुविधाएं भी उपलब्ध हैं।

उद्घाटन में कई दिग्गज रहेंगे मौजूद

यह मंदिर केवल पूजा स्थल ही नहीं बल्कि शिक्षा, सेवा, और समुदाय का केंद्र भी है। मंदिर के उद्घाटन वाले दिन शेख मोहम्मद, महंत स्वामी, भारत और यूएई के अन्य प्रतिष्ठित अतिथि अधिकारी भी शामिल होंगे। समारोह में अनुष्ठान, प्रार्थना, मंत्रोच्चार, और संगीत के साथ सांस्कृतिक प्रदर्शन और भाषण भी शामिल होंगे। मंदिर विभिन्न सांस्कृतिक, शैक्षिक, और मानवीय गतिविधियों जैसे त्योहारों,प्रदर्शनियों, सेमिनारों कार्यशालाओं, योग कक्षाओं, चिकित्सा शिविरों और पर्यावरणीय पहलों को आयोजित करने की भी योजना बना रहे हैं। यह मंदिर भारत और संयुक्त अरब अमीरात के बीच के संबंध को बढ़ाएगा।

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