India News (इंडिया न्यूज), International Holocaust Remembrance Day 2024: द्वितीय विश्व युद्ध के समय इतिहास के सबसे दुखद समयों में से एक यह समय बेहद खास रहा, क्योंकि इसी समय पीड़ित हुए और अपनी जान गंवाने वाले लाखों लोगों को श्रद्धांजलि के रूप में हर साल 27 जनवरी को अंतर्राष्ट्रीय प्रलय स्मरण दिवस के रुप में मनाया जाता है। संयुक्त राष्ट्र महासभा यह तारीख 27 जनवरी 1945 को सोवियत सैनिकों के द्वारा ऑशविट्ज़-बिरकेनौ के नाजी एकाग्रता और विनाश शिविर की मुक्ति की सालगिरह का प्रतीक है। नवंबर 2005 में इसे आधिकारिक तौर पर नरसंहार के पीड़ितों की याद में अंतर्राष्ट्रीय स्मरणोत्सव दिवस घोषित किया गया था।

अंतर्राष्ट्रीय प्रलय स्मरण दिवस का इतिहास

बता दें कि, एडॉल्फ हिटलर के नेतृत्व वाले नाजी शासन ने लगभग छह मिलियन यहूदियों को निशाना बनाया और मार डाला। सामूहिक हत्याएं या तो ज़हरीली गैस या गोलीबारी के ज़रिए की गईं। नरसंहार के पीड़ितों में रोमा, प्रतिरोध सदस्य, राजनेता, विकलांग व्यक्ति, स्लाव लोग, एलजीबीटीक्यू+ व्यक्ति और अन्य लोग भी शामिल थे जिन्हें “अवांछनीय” या उनकी विचारधारा के लिए खतरा माना जाता था।

अंतर्राष्ट्रीय प्रलय स्मरण दिवस का महत्व

पीड़ितों की यादों का सम्मान करने के अलावा, यह दिन हमें याद दिलाता है कि भेदभाव, पूर्वाग्रह और नफरत के खिलाफ खड़ा होना महत्वपूर्ण है। यह अंतरराष्ट्रीय समुदाय से आह्वान है कि वह इस तरह के अत्याचारों को दोबारा होने से रोकने का प्रयास करें। संयुक्त राष्ट्र एजेंसी ने कहा कि, यूनेस्को नरसंहार के पीड़ितों की स्मृति में श्रद्धांजलि अर्पित करता है और यहूदी विरोधी भावना, नस्लवाद और असहिष्णुता के अन्य रूपों का मुकाबला करने के लिए अपनी अटूट प्रतिबद्धता की पुष्टि करता है जो समूह-लक्षित हिंसा का कारण बन सकते हैं।

ये भी पढ़े-