नई दिल्ली (Karnataka Assembly Elections): गुजरात और उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में लगातार ऐतिहासिक जीत के लिए अपनाए गए मॉडल को बीजेपी आगामी कर्नाटक विधानसभा चुनाव में भी अपनाने जा रही है। बीजेपी कर्नाटक इकाई ने विधानसभा चुनावों के लिए डोर-टू-डोर अभियान को जीत के मंत्र के रूप में उपयोग करेगी। बीजेपी की तरफ से बीते दिनों राजधानी बेंगलुरु में एक कोर कमेटी की बैठक आयोजित की गई थी जिसमें कहा गया था कि यह रणनीति मतदाताओं को पार्टी की केंद्रीय और राज्य योजनाओं के लाभों की याद दिलाने और अपनी जीत सुनिश्चित करने में मदद करेगी।
बीजेपी महासचिव सी टी रवि ने कोर कमेटी की बैठक के बाद कहा कि हमारी पार्टी ऐसी नहीं हैं जो बहुत ज्यादा शोर मचाती है। हमने चुनाव से पहले शोर मचाने का काम कांग्रेस पर छोड़ दिया है। जमीनी स्तर पर हम अपने बूथ कार्यकर्ताओं को बीजेपी की जीत के लिए तैयार कर रहे हैं। ये कार्यकर्ता जनता के बीच जाकर सरकार की योजनाओं के बारे में जनता को जागरूक करेंगे। हमारा मकसद बूथ स्तर पर चुनाव जीतना है।
गुजरात और उत्तर प्रदेश की तर्ज पर हो रहा है प्रचार
बीजेपी महासचिव सी टी रवि ने बताया कि हर विधानसभा सीट पर करीब 70 से 80 फीसदी लोग राज्य और केंद्र सरकार की किसी न किसी योजना का लाभ ले रहे हैं। हम उन्हें बीजेपी के पक्ष में वोट करने के लिए तैयार करना चाहते हैं। हमने इसके लिए बड़ी योजना तैयार की है। यह योजना गुजरात और उत्तर प्रदेश में सफल रही और कर्नाटक में भी उस योजना का उपयोग किया जाएगा। कर्नाटक में विपक्षी दल कांग्रेस और जनता दल (सेक्युलर) की तुलना में बीजेपी चुनावी तैयारी में कमजोर दिख रही है।
फरवरी में जारी रहेगा पीएम मोदी का कर्नाटक दौरा
सी टी रवि ने कहा कि फरवरी में पीएम मोदी दो या तीन बार कर्नाटक का दौरा करने वाले हैं। वहीं, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी बीजेपी को जीत दिलाने के लिए राज्य का दौरा करेंगे। बीजेपी कार्यकारिणी की विशेष बैठक में प्रदेश अध्यक्ष नलिन कुमार कतील ने कहा कि सरकार ने निर्वाचन क्षेत्रों के लिए 1,000 करोड़ रुपये की धनराशि उपलब्ध कराई है। वहीं, येदियुरप्पा ने कहा कि पीएम मोदी और शाह के नेतृत्व से कर्नाटक जीतने में मदद मिलेगी।
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