India News (इंडिया न्यूज), Maharashtra CM Announcement: महाराष्ट्र चुनावों के नतीजों में महायुति की प्रचंड जीत हुई लेकिन इसके बाद संगठन के अंदर की उठा-पटक में हार-जीत का फैसला नहीं हो पा रहा है। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर जबरदस्त राजनीति हुई, ट्विस्ट तब आया जब एकनाथ शिंदे भारी-भरकम शर्तें रखते हुए कुर्सी से पीछे हट गए। देवेंद्र फडणवीस का नाम फाइनल हो गया लेकिन अचानक उनका भी पत्ता साफ होने की अफवाहें उड़ने लगीं। इन सबके बीच अब महायुती को लेकर एक पावरफुल ‘दुश्मन’ ने कुछ ऐसा कह डाला है, जिसे सुनकर अमित शाह के पसीने छूट जाएंगे।

क्या है Mahayuti की कंफ्यूजन?

दरअसल, महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव परिणाम 23 नवंबर को आया था और इसके बाद सीएम फेस को लेकर घमासान चल रहा है। अमित शाह ने दिल्ली में महायुती की बैठक भी ली थी लेकिन कोई ऐलान नहीं किया। 9 दिन बीत जाने के बाद भी अमित शाह सरकार को लेकर फैसला नहीं कर पाए, बस यही मौका देखकर आदित्य ठाकरे ने महायुती पर निशाना साधा है।

क्या शिंदे करेंगे कोई खेला या फडणवीस मारेंगे बाजी, 5 दिसंबर को नए मुख्यमंत्री ले पाएंगे शपथ?

क्या बोल गए ‘दुश्मन’?

एकनाथ शिंदे प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएम फेस के तौर पर फडणवीस को एनओसी देकर गांव चले गए। जाने से पहले उन्होंने इस ‘एहसान’ के बदले ऐसी शर्तें रखीं कि सभी दिग्गज सिर खुजाते रह गए। हालात ये हैं कि शपथ ग्रहण की तारीख (5 दिसंबर) आ चुकी है लेकिन सीएम फेस फाइनल नहीं हो पाया है। महायुती के घमासान को देखते हुए आदित्य ठाकरे ने ‘राष्ट्रपति शासन’ को लेकर बड़ी बात कह डाली है। उन्होंने अमित शाह की बैठक पर सवाल उठाते हुए 9 दिनों की गलतियां गिनाई हैं।

शिंदे-फडणवीस के बीच नितिन गडकरी ले उड़ेंगे सीएम की कुर्सी? इन 2 वजहों से इनके नाम की हो रही चर्चा

राष्ट्रपति शासन की क्यों कर दी बात?

शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के नेता आदित्य ठाकरे ने महायुती के हालातों पर तंज कसा है। उन्होंने कहा कि 1 हफ्ते से ज्यादा वक्त बीत गया है। नतीजे आने के बाद अभी तक सरकार नहीं बना पाना ‘महाराष्ट्र का अपमान’ है। आदित्य को इस बात से भी दिक्कत है कि सरकार गठन का दावा किए बिना शपथ ग्रहण का अनाउंसमेंट कैसे किया जा सकता है? उन्होंने कहा कि ‘अगर ये काम किसी विपक्षी दल ने किया होता तो राष्ट्रपति शासन लग जाता। ऐसे नियम कानून सिर्फ विपक्षी दलों पर ही क्यों’?