India News(इंडिया न्यूज), Maharastra: महराष्ट्र के पश्चिमी जिले से एक खबर सामने आई है कि, एक नदी के किनारे एक युवक मगरमच्छों से भरे कीचड़ में पांच दिनों तक जिंदा रहा, जिसके बाद काफी मुश्किलों से रेस्क्यू टीम ने वहां पहुंचकर युवक को सही सलामत बचा लिया। इस खबर में पढ़िए पूरी घटना..
युवक की तालाश
इस पश्चिमी महाराष्ट्र जिले के एक गाँव के एक युवक को पंचगंगा नदी के किनारे के पास मगरमच्छों से भरे कीचड़ से बचाया गया, जहाँ वह पाँच दिनों तक एक जलकुंभी के बीच फंसा रहा था। शिरोल तहसील के शिरधोन गांव के रहने वाले आदित्य बंडगर (युवक) ने परिवार में झगड़े के बाद सोमवार को घर छोड़ दिया था। उसी शाम उसकी चप्पलें गांव से होकर बहने वाली पंचगंगा के किनारे मिलीं। बहुत ढूंढने के बावजूद भई वो नहीं मिला। जिसके बाद बंदगर के परिवार ने कुरुंदवाड पुलिस स्टेशन में अपने बेटे की गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई। इस बीच, कुछ ग्रामीण शिरोल तहसील कार्यालय से एक नाव लेकर आए और खुद ही उस युवक की तलाश करनी शुरू कर दी।
इस तरह बचाई जान
उन्होंने स्थानीय आपदा बचाव संगठन व्हाइट आर्मी से भी संपर्क किया। नाव और व्हाइट आर्मी बचाव दल की मदद से तलाशी अभियान सोमवार शाम को शुरू हई और शुक्रवार तक जारी रही। किशोर को देखने के लिए ड्रोन का भी इस्तेमाल किया गया, लेकिन उससे भी कोई जानकारी नहीं मिली। युवक की तलाश कर रही टीम व्हाइट आर्मी बचाव के सदस्य नितेश वानकोरे ने कहा, “हमने नदी के किनारे कई बार विशाल मगरमच्छ देखे। जब हम शुक्रवार के खोज अभियान के बाद लौट रहे थे, जिसमें नदी का लगभग 10 किमी का हिस्सा शामिल था, हमने नदी के तल में जैकवेल के पास एक चट्टान के पीछे से किसी को मदद के लिए चिल्लाते हुए सुना। हम मौके पर पहुंचे और देखा कि बंदगर लगभग 10 फीट गहरे मिट्टी के गड्ढे में चारों ओर जलकुंभी के साथ फंसा हुआ था। “हमारी टीम के सदस्यों ने बंदगर को कीचड़ से बाहर निकालने के लिए रस्सी का इस्तेमाल किया। पांच दिन तक वहां फंसे रहने के कारण, उनके पैर में फ्रैक्चर आ चुका था। जब तक हमने उसे बचाया, वह लगभग बेहोश हो चुका था। जिसके बाद उन्हें शिरोल के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है।”