Parliament Special Session: विशेष सत्र में केंद्र संसद में पेश कर सकता है ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ बिल
Special Session of Parliament
India News(इंडिया न्यूज़), One Nation, One Election’ bill: केंद्र ने 18 से 22 सितंबर के बीच पांच दिनों के लिए संसद का विशेष सत्र बुलाया है। सूत्रों के मुताबिक जिसके दौरान ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ विधेयक, जिसमें लोकसभा चुनाव और राज्य विधानसभा चुनाव एक साथ कराने का प्रस्ताव है पेश किया जा सकता है।
क्या है ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ ?
वर्तमान में, ये चुनाव आम तौर पर अलग-अलग समय पर होते हैं, जिसके परिणामस्वरूप हर साल कई चुनाव चक्र होते हैं। ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ प्रस्ताव का लक्ष्य सभी चुनाव एक चक्र के भीतर, संभवतः एक ही दिन में कराना है।
प्रह्लाद जोशी ने ट्वीट कर कही यह बात
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने गुरुवार को एक ट्वीट में कहा कि यह सत्र सरकार के अमृत काल को श्रद्धांजलि देने के लिए आयोजित किया जा रहा है। उन्होंने एक्स पर कहा कि “संसद का विशेष सत्र (17वीं लोकसभा का 13वां सत्र और राज्यसभा का 261वां सत्र) 18 से 22 सितंबर तक पांच बैठकों के साथ बुलाया जा रहा है। अमृत काल के बीच संसद में सार्थक चर्चा और बहस की उम्मीद है।”
सार्थक चर्चा और बहस करना है संसद के आगामी सत्र का लक्ष्य
सरकार का लक्ष्य संसद के आगामी सत्र में सार्थक चर्चा और बहस करना है। विशेष सत्र की घोषणा राजनीतिक हलकों में एक आश्चर्य के रूप में सामने आई, क्योंकि पार्टियां इस साल के अंत में पांच राज्यों में विधानसभा चुनावों की तैयारी कर रही हैं। पिछले महीने संपन्न हुआ संसद का मानसून सत्र पुराने संसद भवन में आयोजित किया गया था।
आम आदमी पार्टी ने प्रस्ताव का किया विरोध
इस प्रस्ताव को विशेष रूप से आम आदमी पार्टी (आप) के विरोध का सामना करना पड़ा है। इससे पहले, जनवरी में, आम आदमी पार्टी ने आरोप लगाया था कि सत्तारूढ़ भाजपा अपने “ऑपरेशन लोटस” के तहत निर्वाचित प्रतिनिधियों की “बिक्री और खरीद” को वैध बनाने के लिए इस अवधारणा का उपयोग कर रही थी।
आम आदमी पार्टी ने पार्टी ने भाजपा पर संसदीय प्रणाली से राष्ट्रपति प्रणाली में बदलने का भी आरोप लगाया था। उन्होंने तर्क दिया कि यदि लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ होते हैं तो संसाधन-संपन्न पार्टियाँ वित्तीय और बाहुबल का उपयोग करके राज्य के मुद्दों पर हावी हो सकती हैं, और संभावित रूप से मतदाताओं के निर्णयों को प्रभावित कर सकती हैं।
प्रस्ताव को लेकर भाजपा का यह है मत
वहीं, भाजपा एक साथ चुनाव को विकास को सुविधाजनक बनाने के तरीके के रूप में देखती है। ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ विधेयक का उद्देश्य चुनाव प्रक्रिया को ‘सरल’ बनाना है, इसे राज्य के मुद्दों और शासन पर इसके संभावित प्रभाव के बारे में विरोध और चिंताओं का सामना करना पड़ता है।
दिव्यांशी सिंह उत्तर प्रदेश के देवरिया जिले की रहने वाली हैं। उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी से पत्रकारिता की पढ़ाई की है और पिछले 4 सालों से ज्यादा वक्त से पत्रकारिता के क्षेत्र में हैं। जियो-पॉलिटिक्स और स्पोर्टस में काम करने का लंबा अनुभव है। अभी इंडिया न्यूज में कार्यरत हैं और इंटरनेशनल पॉलिटिक्स और स्पोर्टस पर लिखती हैं।