India News (इंडिया न्यूज), Bangladesh Meher Afroz Shaon: बांग्लादेश में राजनीतिक अस्थिरता और हिंसा के बीच मशहूर अभिनेत्री मेहर अफरोज शॉन को देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार कर लिया गया है। ढाका मेट्रोपोलिटन पुलिस ने उन्हें पूछताछ के लिए बुलाया था, जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी की पुष्टि हुई। पुलिस का दावा है कि मेहर अफरोज उन लोगों में शामिल थीं, जो देश के खिलाफ साजिश रच रहे थे। मेहर अफरोज का राजनीतिक संबंध गहरा रहा है। उनके पिता *मोहम्मद अली, बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग से जुड़े थे। वह 1996 में संसद सदस्य भी रह चुके हैं। मोहम्मद अली जमालपुर जिले की एडवाइजरी काउंसिल के सदस्य थे और 1996 में आरक्षित सीट से सांसद बने थे। हाल ही में उन्होंने जमालपुर-5 सीट से चुनाव लड़ने की इच्छा जताई थी, लेकिन पार्टी ने उन्हें टिकट नहीं दिया था।

भीड़ ने मेहर अफरोज के घर पर किया हमला

बांग्लादेशी अखबार ‘ढाका ट्रिब्यून’ की रिपोर्ट के अनुसार, गुरुवार शाम को जमालपुर के नारुंदी रेलवे स्टेशन इलाके में मेहर अफरोज के पिता मोहम्मद अली के घर पर उग्र भीड़ ने हमला कर दिया। भीड़ ने पहले शहर में जुलूस निकाला और फिर घर पर पत्थरबाजी और तोड़फोड़ करने के बाद उसमें आग लगा दी। इस हमले के पीछे स्थानीय लोगों और छात्रों का हाथ बताया जा रहा है।

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शेख मुजीब उर रहमान के घर पर भी हमला

इस हिंसा की आग सिर्फ जमालपुर तक सीमित नहीं रही। बुधवार को ढाका के धानमंडी इलाके में भी बांग्लादेश के संस्थापक शेख मुजीब उर रहमान के घर पर तोड़फोड़ की गई। यह वही जगह है जहां बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना का बचपन बीता था। इस हमले के बाद बांग्लादेश में राजनीतिक हालात और अधिक बिगड़ने लगे।

बांग्लादेश की अंतरिम सरकार की प्रतिक्रिया

देश में बढ़ती हिंसा पर बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद युनूस ने चिंता जताई है। उन्होंने कहा कि कुछ लोग देशभर में संस्थानों और प्रतिष्ठानों को निशाना बना रहे हैं, जिससे देश में अस्थिरता का माहौल बन रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि सरकार आम नागरिकों और उनकी संपत्तियों की सुरक्षा के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।

बांग्लादेश सरकार ने मांगी शेख हसीना की वापसी

गौरतलब है कि बांग्लादेश में पिछले साल छात्रों के हिंसक आंदोलन के बाद शेख हसीना भारत चली गई थीं। तब से ही वह भारत में हैं और बांग्लादेश सरकार उन्हें वापस भेजने की मांग कर रही है। अंतरिम सरकार के गठन के बाद भी राजनीतिक उथल-पुथल थमने का नाम नहीं ले रही है।

क्या बांग्लादेश में फिर से बड़ा राजनीतिक संकट खड़ा हो रहा?

बांग्लादेश में जारी हिंसा और राजनीतिक अस्थिरता से हालात बिगड़ते जा रहे हैं। पहले शेख मुजीब उर रहमान के घर पर हमला और अब मेहर अफरोज की गिरफ्तारी ने बांग्लादेश की राजनीति में नए मोड़ को जन्म दिया है। यह देखना दिलचस्प होगा कि सरकार इस संकट को कैसे संभालती है और क्या शेख हसीना की वापसी से हालात बदल सकते हैं?

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