India News (इंडिया न्यूज), Modi-Macron Friendship : पीएम मोदी इस वक्त अमेरिका के दो दिवसीय दौरे पर हैं। इससे पहले वो फ्रांस के दौरे पर थे, वहां पर पीएम मोदी और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों हर जगह साथ में नजर आए। इसके बाद से मोदी और मैक्रों के बीच बढ़ती दोस्ती चर्चा में है। वैसे तो भारत का सबसे करीबी दोस्त रूस को माना जाता है। इनकी दोस्ती दशकों पुरानी है। पीएम मोदी रूस जाएं, या फिर पुतिन भारत आते हैं, तो दोनों के बीच दोस्ती देखने को मिलती है। अब ऐसा ही कुछ रिश्ता भारत और फ्रांस के बीच बनते हुए दिख रहा है।
इसकी झलक दुनिया को पीएम मोदी के फ्रांस दौरे पर खूब दिखी। यहां मैक्रों ने मोदी की आवभगत में कोई कमी नहीं होने दी। फ्रांस में जहां-जहां मोदी गए, वहां-वहां साए की तरह साथ रहे।
असल में पीएम मोदी जब भी रूस जाते हैं तो उनका स्वागत जोरदार तरीके से होता है। अब ऐसा ही कुछ फ्रांस यात्रा में भी देखने को मिला। राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों की आगवानी और हॉस्पिटालिटी शानदार थी। राष्ट्रपति मैक्रों पीएम मोदी के साथ पुतिन की तरह नजर आए।
हर जगह पीएम मोदी के साथ रहे राष्ट्रपति मैक्रों
पीएम मोदी की फ्रांस यात्रा पर राष्ट्रपति मैक्रों का दिया गया समय और सम्मान दोनों ही देखने को मिला। इसका अंदाजा आप इसी बात से लगा सकते हैं कि यात्रा के पहले दिन राष्ट्रपति मैक्रों ने पीएम मोदी को डिनर कराया। रात्रिभोज में दोनों नेताओं ने बातचीत की। अगले दिन एआई एक्शन समिट में भी यह सौहार्दपूर्ण माहौल जारी रहा। भारत और फ्रांस ने संयुक्त रूप से शिखर सम्मेलन की मेजबानी की।
इसके अलावा दोनों नेताओं ने भारत-फ्रांस सीईओ फोरम की मेजबानी की, इसके अलावा दोनों नेता एक संयुक्त काफिले में और एक ही विमान में मार्सिले पहुंचे। राष्ट्रपति मैक्रों ने प्रधानमंत्री मोदी के लिए मार्सिले में रात्रिभोज की मेजबानी की। हर जगह साए की तरह मैक्रों मोदी के साथ दिखे। मैक्रों दरअसल पीएम मोदी के दौरे को लेकर खासे उत्साहित थे। यात्रा के अंत में मैक्रों पीएम मोदी को छोड़ने उनके प्लेन तक गए थे।
जमकर की पीएम मोदी की तारीफ
फ्रांस के राष्ट्रपति ने पीएम मोदी की जमकर तारीफ की है। उन्होंने कहा कि, प्रधानमंत्री मोदी की तरह हमारा भी दृढ़ विश्वास है कि भारत और फ्रांस दो महान शक्तियां हैं और हमारे बीच विशेष संबंध हैं। हम अमेरिका का सम्मान करते हैं और उसके साथ काम करना चाहते हैं, हम चीन के साथ भी काम करना चाहते हैं, लेकिन किसी पर निर्भर नहीं रहना चाहते हैं। मैक्रों ने आगे कहा कि, भारत और फ्रांस अग्रणी हैं लेकिन अमेरिका और चीन हमसे बहुत आगे हैं। हम एआई पर एक साथ काम करना चाहते हैं। पीएम मोदी भी नई टेक्नोलॉजी का फायदा उठाना चाहते हैं। लेकिन वह चाहते हैं कि यह भारत में भी हो।