India News (इंडिया न्यूज), Pakistan Sectarian Violence: पाकिस्तान में सांप्रदायिक हिंसा जारी है। देश के उत्तर-पश्चिमी खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में संघर्ष विराम के बावजूद शिया और सुन्नी समूहों के बीच गोलीबारी जारी रहने की वजह से शनिवार (30 नवंबर) को खुर्रम आदिवासी सांप्रदायिक हिंसा में दो और लोगों की मौत हो गई। इसके साथ मृतकों की संख्या बढ़कर 124 हो गई है। अधिकारियों ने बताया कि पिछले दस दिनों से जारी सांप्रदायिक हिंसा में 170 से अधिक लोग घायल हुए हैं। प्रांत के गवर्नर फैसल करीम कुंदी ने शुक्रवार को मुख्यमंत्री अली अमीन गंदापुर को व्यक्तिगत रूप से अशांत क्षेत्र का दौरा करने का प्रस्ताव दिया।

10 दिनों से जारी है हिंसा

बता दें कि, जिले में अलीजई और बागान जनजातियों के बीच संघर्ष 22 नवंबर को पाराचिनार के पास यात्री वैन के काफिले पर हमले के बाद शुरू हुआ था, जिसमें एक दिन पहले 47 लोग मारे गए थे। गंभीर रूप से घायल हुए कई यात्रियों की बाद में मौत हो गई, जिससे मरने वालों की संख्या 57 हो गई। दरअसल, बगान बाजार क्षेत्र में शुरू हुई हिंसा में पिछले दो दिनों में कम से कम 37 लोग मारे गए और कई लोग घायल हुए हैं। जो बालिशखेल, खार, काली, जुंज अलीजई और मकबल जैसे अन्य इलाकों में फैल गई।

ये जंगल है जरूरी, क्यों कहा जाता है इस जगह को धरती का फेफड़ा, क्या है वो रहस्यमयी राज जो इसे खास बनाता है?

संघर्ष विराम के बाद भी सांप्रदायिक हिंसा जारी

दरअसल, सरकार ने रविवार (24 नवंबर) को शिया और सुन्नी समुदायों के बीच सात दिवसीय संघर्ष विराम की मध्यस्थता की थी। इसके बाद में संघर्ष विराम को 10 दिनों के लिए बढ़ा दिया गया। मुख्य पेशावर-पाराचिनार राजमार्ग को सभी यातायात के लिए बंद कर दिया गया है, जबकि इंटरनेट और मोबाइल सेवाएं निलंबित हैं। बता दें कि, राज्यपाल कुंदी ने कोहाट डिवीजन से खुर्रम जिले में एक भव्य शांति जिरगा (आदिवासी नेताओं की परिषद) के सदस्यों को भेजने की भी योजना बनाई है, ताकि दोनों युद्धरत गुटों के नेताओं के साथ शांति वार्ता की जा सके।

‘AI की पढ़ाई छोड़ ASI की खुदाई में…’, संभल के बाद बदायूं जामा मस्जिद पर विवाद, ओवैसी ने अगली पीढ़ी को लेकर जताई ये चिंता