India News (इंडिया न्यूज),PM Modi Saudi Arabia visit:प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस महीने सऊदी अरब की यात्रा पर जा सकते हैं, जहां वह व्यापार, निवेश, ऊर्जा और रक्षा के क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने पर चर्चा कर सकते हैं। पीएम मोदी की यह यात्रा दो दिवसीय हो सकती है। इस संबंध में अभी कोई आधिकारिक जानकारी सामने नहीं आई है, लेकिन मामले से वाकिफ लोगों ने सूत्रों के हवाले से यह बात कही है। उनका कहना है कि दोनों पक्षों के बीच क्षेत्रीय सुरक्षा परिदृश्य के साथ-साथ प्रस्तावित भारत-मध्य पूर्व-यूरोप आर्थिक गलियारे (आईएमईसी) पर भी बातचीत होने की उम्मीद है।
IMEC आर्थिक गलियारा
दरअसल, सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान बिन अब्दुलअजीज अल सऊद सितंबर 2023 में जी-20 शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए भारत आए थे। शिखर सम्मेलन के दौरान भारत, यूरोपीय संघ, फ्रांस, जर्मनी, इटली, सऊदी अरब, यूएई और अमेरिका के नेताओं ने एक समझौता ज्ञापन की घोषणा की, जिसमें एक नया भारत-मध्य पूर्व-यूरोप आर्थिक गलियारा विकसित करने के लिए मिलकर काम करने की प्रतिबद्धता जताई गई।
अप्रैल के तीसरे हफ्ते में कर सकते हैं सऊदी की यात्रा
समाचार एजेंसी पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि पीएम मोदी अप्रैल के तीसरे हफ्ते में सऊदी अरब की यात्रा कर सकते हैं। करीब चार साल बाद यह उनकी पहली यात्रा होगी। पिछले साल नवंबर में सऊदी अरब के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान अल सऊद भारत आए थे। इस यात्रा के दौरान दोनों देशों ने व्यापार, निवेश, ऊर्जा, रक्षा, सुरक्षा और संस्कृति के क्षेत्रों में अपनी रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने पर बातचीत की थी।
भारत और सऊदी अरब के रिश्ते
पिछले कुछ सालों में भारत और सऊदी अरब के बीच रिश्ते काफी मजबूत हुए हैं। खाड़ी देश में करीब 26 लाख भारतीय रहते हैं और इसे दोनों देशों के बीच संबंधों का अहम स्तंभ माना जाता है। अप्रैल 2016 में पीएम मोदी की रियाद यात्रा को भारत-सऊदी अरब संबंधों में एक नया अध्याय खोलने के लिए अहम माना गया था।
इतना ही नहीं, पिछले कुछ सालों में द्विपक्षीय व्यापार में लगातार बढ़ोतरी देखी गई है। भारत सऊदी अरब का दूसरा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है, जबकि खाड़ी देश भारत का पांचवां सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है। 2023-24 में द्विपक्षीय व्यापार 42.98 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा, जिसमें भारतीय निर्यात 11.56 बिलियन अमेरिकी डॉलर और आयात 31.42 बिलियन अमेरिकी डॉलर रहा।
सऊदी अरब में भारतीय निवेश बढ़ा
सऊदी अरब में भारतीय निवेश भी हाल के वर्षों में बढ़ा है, जो अगस्त 2023 में लगभग 3 बिलियन अमेरिकी डॉलर के आंकड़े तक पहुंच गया है। ये निवेश विभिन्न क्षेत्रों जैसे प्रबंधन और परामर्श सेवाएं, निर्माण परियोजनाएं, दूरसंचार, आईटी, वित्तीय सेवाएं, सॉफ्टवेयर विकास, फार्मास्यूटिकल्स आदि में हैं। एलएंडटी, टाटा मोटर्स, विप्रो, टीसीएस, शापूरजी एंड पल्लोनजी, टेक महिंद्रा, वेदांता और एस्सार जैसी प्रमुख भारतीय कंपनियों और कॉर्पोरेट समूहों ने सऊदी अरब में अपनी मजबूत उपस्थिति स्थापित की है।
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