India News (इंडिया न्यूज), Earthquake in Turkey: भारत का आर्थिक आक्रमण झेल रहे तुर्की में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.2 मापी गई है। तुर्की की धरती बार-बार हिल रही है। कभी हल्के झटके तो कभी विनाशकारी बाढ़ ने तुर्की को तबाह कर दिया है। इसकी वजह यह है कि तुर्की एनाटोलियन प्लेट पर स्थित है, जो अफ्रीकी और यूरेशियन टेक्टोनिक प्लेटों के बीच फंसा हुआ है। यही वजह है कि यहां अक्सर भूकंपीय गतिविधियां होती रहती हैं। आइए जानते हैं तुर्की में कब-कब भूकंप ने तबाही मचाई।

2023: दक्षिण-पूर्वी तुर्की में भूकंप

6 फरवरी की सुबह 7.8 तीव्रता का भूकंप आया। इससे तुर्की के साथ-साथ सीरिया में भी भारी तबाही मची। इस भूकंप के बाद 7.5 तीव्रता का एक और भूकंप आया। यह तुर्की के इतिहास का सबसे घातक भूकंप बन गया। इसमें 50 हजार से ज्यादा लोग मारे गए। इतना ही नहीं, इस भूकंप से लाखों लोग प्रभावित हुए।

2020 में इज़मिर भूकंप

30 अक्टूबर को आए इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 7.0 थी। यह भूकंप एजियन सागर के नीचे आया और इसने तुर्की के साथ-साथ ग्रीस को भी प्रभावित किया।

2011 में वान भूकंप

अक्टूबर में पूर्वी तुर्की के वान क्षेत्र में विनाशकारी भूकंप आया। इसकी तीव्रता 7.1 थी। इसमें 600 से ज़्यादा लोग मारे गए। सैकड़ों इमारतें नष्ट हो गईं।

1999 – इज़मित (कोकेली) भूकंप

17 अगस्त को आए इस भूकंप की तीव्रता 7.6 थी। इसमें करीब 17 हज़ार लोग मारे गए। इस भूकंप ने तुर्की की ज़मीन के साथ-साथ उसकी अर्थव्यवस्था को भी हिलाकर रख दिया। यह भूकंप रात में आया और भारी तबाही मचाई।

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भारत ने चलाया था ‘ऑपरेशन दोस्त’

साल 2023 में तुर्की में आए विनाशकारी भूकंप ने दुनिया को हिलाकर रख दिया था। तब संकट की घड़ी में भारत ने “ऑपरेशन दोस्त” चलाकर तुर्की की काफ़ी मदद की थी। प्रधानमंत्री मोदी ने NDRF की टीमें तुर्की भेजी थीं।

इन टीमों ने विशेष उपकरणों और खोजी कुत्तों के साथ मलबे में फंसे लोगों की तलाश और बचाव कार्य शुरू किया। इतना ही नहीं, भारतीय सेना की मेडिकल टीम को भी तैनात किया गया। इसके अलावा भारत ने तुर्की को कंबल, टेंट, दवाइयां, जेनरेटर, कपड़े और खाने-पीने की कई टन राहत सामग्री के पैकेट भी भेजे।

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