India News (इंडिया न्यूज़),Heart Attack: कुछ सालों पहले तक दिल की बीमारी या हार्ट अटैक को बुजुर्गों की बीमारी मानी जाती थी। लेकिन हाल के दिनों में जिस तरह से कम उम्र के लोगों को हार्ट अटैक आ रहे हैं, लोगों की मौत हो रही है उससे बड़ा सवाल खड़ा होता है कि आखिर क्या कमी रह जाती है। शरीर के पोषण में जिससे खेलते कूदते, जिम में वर्कआउट करते लोगों की मौत हो जाती है। इस मामले में हमने बात की डाइट एक्सपर्ट से और उनसे जाना क्या है इसे रोकने के उपाय।
बच्चों को बाहर खाने पीने से रखें दूर
कम उम्र में लोगों की हार्ट फेल्योर का कारण लोगों की जीवनशैली में परिवर्तन है। इस मामले में का मानना है कि छोटे बच्चों को खानपान में नियमितता रखनी चाहिए। अक्सर बच्चे खाना मिस करते हैं जो कि सही नहीं है। छोटे बच्चों को स्कूल जाते वक्त भूखे नहीं भेजना चाहिए उनको पौष्टिक खाना खिलाकर हीं बाहर भेजना चाहिए, बच्चों का विकास तभी सही से हो पाता है अन्यथा वही बच्चे जब बड़े होते हैं तो कमजोर शरीर और दिल के साथ बड़े होते हैं।
प्रोटीन और फैट के सेवन का रखें ध्यान
विशेषज्ञ बताते हैं कि हर उम्र के लोगों के लिए अलग अलग तरह से प्रोटीन, फैट या अन्य तत्वों की जरूरत पड़ती है। जागरूकता नहीं होने के कारण इस बात का ध्यान लोग नहीं रख पाते हैं। वो बताती है कि कम उम्र में कुछ भी खाने से बच्चों को नहीं रोकना चाहिए, लेकिन बाजार का खाना या फास्टफूफ से जरूर बचना चाहिए। ये शरीर को कमजोर बनाता है। बुजुर्गों में विटामिन डी की कमी हो जाती है इसलिए जरूरी है कि वो सूरज की रौशनी में सुबह जरूर बैठे।
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