India News (इंडिया न्यूज), MP Guest Teachers Recruitment: मध्य प्रदेश में चल रही शिक्षक भर्ती प्रक्रिया में लागू नए नियमों ने सैकड़ों अतिथि शिक्षकों के भविष्य को खतरे में डाल दिया है। खासतौर पर अनुभव प्रमाण पत्र अपलोड करने की अनिवार्यता के चलते कई शिक्षकों को आवेदन करने में परेशानी हो रही है। शिक्षकों ने इन नियमों में संशोधन की मांग करते हुए सरकार से राहत देने की अपील की है।
अनुभव की शर्त बनी बाधा
नए नियमों के अनुसार, अतिथि शिक्षकों के लिए 3 सत्र (200 दिन प्रति सत्र) का अनुभव अनिवार्य कर दिया गया है लेकिन कई शिक्षकों का तीसरा सत्र अप्रैल 2025 में पूरा होगा, जिससे वे इस भर्ती प्रक्रिया में शामिल नहीं हो पा रहे हैं।
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अतिथि शिक्षकों ने लगाया भाई-भतीजावाद का आरोप
अतिथि शिक्षकों का कहना है कि पहले की भर्ती प्रक्रियाओं में ऐसे नियम नहीं थे, लेकिन इस बार नए नियम लागू कर दिए गए हैं, जिससे वे आवेदन करने से वंचित हो रहे हैं। उनका आरोप है कि भाई-भतीजावाद के चलते उन्हें पहले ही अवसरों से वंचित किया गया था*, और अब ये नियम उनकी पात्रता पर भी सवाल खड़ा कर रहे हैं।
क्या चाह रहे हैं शिक्षक?
शिक्षकों ने मांग की है कि अनुभव प्रमाण पत्र अपलोड करने की अनिवार्यता समाप्त की जाए और केवल अतिथि शिक्षक विकल्प का चयन करने की अनुमति दी जाए। इससे सभी योग्य शिक्षकों को समान अवसर मिल सकेगा उन्होंने शिक्षा मंत्री से हस्तक्षेप करने की मांग की है और उम्मीद जताई है कि सरकार जल्द ही कोई सकारात्मक निर्णय लेगी। अब देखना यह होगा कि सरकार शिक्षकों की मांगों पर क्या कदम उठाती है या फिर यह मुद्दा और ज्यादा तूल पकड़ता है।