India News (इंडिया न्यूज),Prayagraj News: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रविंद्र पुरी महाराज ने कहा कि महाकुंभ के दौरान 26 जनवरी को धर्म संसद का आयोजन किया जाएगा। इसमें चारों पीठों के शंकराचार्य और 13 अखाड़ों के प्रमुख समेत देशभर के प्रमुख साधु-संत संगम पर जुटेंगे। उन्होंने कहा, सनातन बोर्ड बनाने का प्रस्ताव शीर्ष नेतृत्व को भेजा जाएगा। कहा कि सनातन धर्म की रक्षा और संवर्धन के लिए बोर्ड का गठन जरूरी है। कहा कि इस बार के महाकुंभ के लिए तीन साल पहले ही प्लानिंग शुरू हो गई थी, जिसमें देश-विदेश से आने वाले श्रद्धालुओं के लिए प्रसाद उपलब्ध कराने के लिए जरूरी संसाधन जुटाना भी शामिल था। उन्होंने कहा कि एक बार में पांच हजार श्रद्धालुओं को प्रसाद परोसने की व्यवस्था की गई है। महाकुंभ 2025 का आयोजन प्रयागराज में 13 जनवरी से 26 फरवरी तक होगा।
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मोदी-योगी ने बढ़ाया हिंदुत्व का मान : अखाड़ा परिषद
रविन्द्र पुरी ने कहा कि तपस्वी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सनातन की ध्वजा को इस तरह से बुलंद किया है कि देश-विदेश की निगाहें भारत पर टिकी हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सनातन की परंपरा को बुलंद किया है। देश का ऐसा शीर्ष नेतृत्व ही दुनिया के सबसे बड़े सांस्कृतिक महाकुंभ को साकार कर सकता है। दिव्यता और भव्यता के लिहाज से इस बार का महाकुंभ सबसे अलौकिक होने जा रहा है, जिसमें पुराने सारे रिकॉर्ड टूटने जा रहे हैं।
हम नया गुरु नहीं बनाते, गुरु भाई बनाते हैं
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत रविंद्र पुरी ने भी निरंजनी अखाड़े के महत्व के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने बताया कि निरंजनी अखाड़े के संत देव सेनापति कार्तिकेय को मानते हैं। इसके अलावा यहां दीक्षा लेने के बाद सभी को गुरु भाई बनाया जाता है। अलग से नया गुरु बनाने की परंपरा नहीं है। निरंजन देव जी हम सभी के गुरु हैं।