India News (इंडिया न्यूज),New UP lit up with Maha Kumbh 2025: 14 जनवरी से 14 फरवरी तक चल रहे महाकुंभ में 50 करोड़ श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगाकर ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ का संदेश दिया। इस ऐतिहासिक आयोजन ने न केवल आध्यात्मिकता को बढ़ावा दिया, बल्कि उत्तर प्रदेश के आधुनिक विकास को भी रफ्तार दी।
लखनऊ बना आधुनिक महानगर
रक्षामंत्री ने उत्तर प्रदेश, खासकर लखनऊ को मेट्रो सिटी बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए। अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा, एक्सप्रेसवे और नई कनेक्टिविटी परियोजनाएं लखनऊ को एक आधुनिक महानगर में तब्दील कर रही हैं। लखनऊ अब एक ऐसा जंक्शन बन चुका है, जहां से प्रदेश के हर हिस्से में बेहतर सुविधाएं मिल रही हैं।
महाकुंभ के लिए कनेक्टिविटी में सुधार
महाकुंभ में कनेक्टिविटी सुधारने के लिए व्यापक स्तर पर कार्य हुआ। सड़क मार्ग से सबसे अधिक श्रद्धालु पहुंचे, जबकि 40 फ्लाइट रोजाना चल रही थीं। लखनऊ, प्रयागराज और रायबरेली को 6-लेन सड़क से जोड़ा गया, जिससे तीर्थयात्रियों को बेहतरीन यात्रा अनुभव मिला।
प्रयागराज को विकसित सिटी बनाने की योजना
प्रयागराज कैबिनेट बैठक में शास्त्री ब्रिज के समानांतर एक नया पुल और नैनी सिग्नेचर ब्रिज के बराबर एक और पुल बनाने की जरूरत को महसूस किया गया। यह कदम हर 6 और 12 साल में लगने वाले कुंभ मेले के दौरान भीड़ को नियंत्रित करने के लिए उठाया गया है।
विकास पर खर्च की गई राशि
आलोचकों को जवाब देते हुए कहा गया कि महाकुंभ पर केवल 1500 करोड़ रुपये खर्च हुए, जबकि प्रयागराज को एक विकसित शहर बनाने के लिए 5,000 करोड़ रुपये की राशि का उपयोग किया गया। यह धनराशि शहर की बुनियादी सुविधाओं और इंफ्रास्ट्रक्चर सुधार में खर्च की गई है। यह आयोजन न केवल उत्तर प्रदेश के आध्यात्मिक महत्व को रेखांकित करता है, बल्कि इसे आधुनिक भारत के विकास का प्रतीक भी बनाता है।