इंडिया न्यूज, प्रयागराज:
अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष Mahant Narendra Giri की मौत से मठ के साथ-साथ पूरे विश्व में रहने वाले उनके श्रद्धालु सदमें में है। हर श्रद्धालु यह जानना चाहता है कि क्या महंत ने वाकई आत्महत्या की है। श्रद्धालुओं को अभी भी लग रहा है कि महंत की हत्या करके उनका शव फंदे पर लटकाया गया होगा। इस सब का पर्दाफाश करेगी महंत के पोस्टमार्टम की रिपोर्ट। रिपोर्ट में यह सामने आ जाएगा की महंत ने स्वंय फंदा लगाया या फिर किसी और ने उनकी हत्या कर शव को फंदे पर लटका दिया। पूरे मामले में पुलिस के तमाम बड़े अधिकारी और फोरेंसिक एक्सपर्ट जांच कर रहे हैं।

आत्महत्या या हत्या इस तरह होगा साबित

कोई व्यक्ति फंदा लगाकर आत्महत्या करता है या फिर उसकी हत्या करके शव फंदे पर लटका दिया जाता है। इसकी पहचान के लिए विशेषज्ञ इस तरह बताते हैं। पोस्टमार्टम करने वाले एक विशेषज्ञ कहते हैं कि गले के सामने की हड्डी महत्वपूर्ण होती है। अगर किसी ने खुद फंदा लगाकर सुसाइड किया है तो गले के साइड व सामने की तरफ रस्सी के निशान मिलेंगे। लेकिन अगर गला दबाकर हत्या की गई है, तो गले के बाहर निशान आएंगे, रस्सी के निशान नहीं आएंगे। यदि कोई दूसरा व्यक्ति किसी को गला दबाकर मारता है, तो हड्डी अधिक क्रेक होती है।

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यह बात भी रखती है मायने

एक्सपर्ट का कहना है कि फंदा लगाने के लिए कोई भी व्यक्ति स्टूल, टेबल या किसी अन्य वस्तु पर खड़ा होकर अपने गले में फंदा डालता है। फिर अपने हाथ भी बांध लेता है। क्योंकि जैसे ही दम घुटेगा तो रस्सी न पकड़ सके। सवाल यह है कि शव लटकी हुई हालत में मिला, तो पैर हवा में थे या नहीं। यदि पैर जमीन पर टिके थे, तो हत्या की तरफ जांच आगे बढ़ती है।