India News (इंडिया न्यूज़) Uttar Pradesh : उत्तर प्रदेश के पीलीभीत गांव उमरिया में मंदिर को तोड़ दिया गया है। मंदिर को तहसीलदार ने अवैध बताकर तोड़ा है। जिसके कारण ग्रामीणों का गुस्सा अपने चरम पर है। ग्रामीणों ने कहा साजिश के तहत मंदिर को तोड़ा गया है।

ग्रामीणों ने नारेबाजी और प्रदर्शन किया

मंदिर तोड़ने के विरोध में ग्रामीणों ने नारेबाजी और प्रदर्शन किया। लोगों ने कहा की चंदा जमा कर मंदिर को बनाया गया था। गांव के एक व्यक्ति रामकुमार ने दो वर्ष पहले पिपरिया रोड पर जमीन को खरीदा था। खरीदने के बाद गांव वालों को मंदिर बनाने के लिए दान में दे दिया। ग्रामीणों ने फिर चंदा जमाकर मंदिर बनवाया तथा शिवलिंग को स्थापित किया। दो दिन पूर्व मंदिर से शिवलिंग चोरी की घटना समाने आई।

शिवलिंग चोरी के खिलाफ दर्ज कराया केस

शिवलिंग चोरी होने के बाद ग्रामीणों ने पुलिस स्टेशन में केस दर्ज कराया। शनिवार के दिन थाने से रामकुमार के पास सुबह बजे फोन आया। थाना पहुंचने के पश्चात राजस्व विभाग की टीम मंदिर के संबंध में  राजकुमार से बात करते है। रामकुमार अपनी पत्नी अनीता देवी के साथ थाने आए। इसी दौरान राजस्व विभाग की टीम पुलिस के साथ गांव पहुंची।  फिर मंदिर के निर्माण को अवैध करार देते हुए जेसीबी से गिरा दिया गया।

राजनीतिक रोटी सेकने के लक्ष्य से गिराया मंदिर

बता दें कि मंदिर के पास एक युवक का खेत है। पानी के निकास को लेकर बहुत दिनों से विवाद था। युवक तहसीलदार के साथ मिलकर मंदिर को अवैध बता दिया। इसके बाद मंदिर को गिरा दिया गया।

शिवलिंग चोरी करने के लिए रची साजिश

मंदिर बनाने के दौरान शिवलिंग की स्थापना की गई थी। सावन महीने में  सभी श्रद्धालु जलाभिषेक करते थे। दो दिन पहले मंदिर से शिवलिंग चोरी की घटना सामने आई। ग्रामीणों ने कहना यह साजिश है इसलिए जांच होना जरुरी है। वरना कोई शिवलिंग को चोरी कैसे कर पाएगा।

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