India News (इंडिया न्यूज), Vehicle Speed Limit: देश में सड़क हादसों की संख्या में लगातार हो रही बढ़ोतरी ने चिंता बढ़ा दी है। जानकारी के मुताबिक, परिवहन विभाग के आंकड़ों के अनुसार, ओवर स्पीडिंग के कारण होने वाले 72% सड़क हादसों में 33% मौतें होती हैं। ऐसे में, इन गंभीर आंकड़ों को देखते हुए, परिवहन विभाग ने सख्त कदम उठाने की तैयारी कर ली है।
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करना पड़ सकता है ड्राइविंग लाइसेंस भी सरेंडर
बता दें, अब ओवर स्पीडिंग के मामलों में केवल जुर्माना ही नहीं, बल्कि वाहन चालकों को अपना ड्राइविंग लाइसेंस भी सरेंडर करना होगा। इसके लिए नेशनल इंफॉर्मेटिक्स सेंटर (एनआईसी) को एक सॉफ्टवेयर विकसित करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ-साथ इस सॉफ़्टवेयर के जरिए ओवर स्पीडिंग में पकड़े गए वाहन मालिकों को उनके मोबाइल नंबर पर ड्राइविंग लाइसेंस सरेंडर करने का मैसेज भेजा जाएगा। बता दें, अब तक इंटरसेप्टर के जरिए तेज गाड़ी चलाने पर चालान काटे जाते थे, लेकिन यह कदम पर्याप्त साबित नहीं हुआ। इस बदलाव और नई व्यवस्था के तहत, ओवर स्पीडिंग करने वालों को जुर्माने के साथ डीएल सरेंडर का नोटिस भी भेजा जाएगा। यह पहली बार होगा जब ओवर स्पीडिंग के मामलों में लाइसेंस सरेंडर कराने की प्रक्रिया अपनाई जाएगी।
तय की गई गति सीमा का पालन जरूरी
जानकारी के मुताबिक, परिवहन विभाग ने स्पष्ट किया है कि गति सीमा का पालन करना अनिवार्य होगा। ओवर स्पीडिंग के मामलों को अब बख्शा नहीं जाएगा। यह सख्ती न केवल सड़क हादसों को रोकने में मदद करेगी, बल्कि सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देगी। बता दें, इस कदम से उम्मीद है कि वाहन चालक गति सीमा का पालन करेंगे और सड़क हादसों में कमी आएगी। परिवहन विभाग के इस निर्णय को सड़क सुरक्षा की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।