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चीन कर रहा नेपाल को अपने जाल मे फसाने की कोशिश, अब क्या करेंगे PM मोदी?

दक्षिण एशिया में अपनी पकड़ और कूटनीतिक दखल को और मजबूत करने की रणनीति के तहत चीन ने अब नेपाल को एक नए समूह, अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थता संगठन (IOMed) से जोड़ने की कोशिश शुरू कर दी है।

यह वही मंच है जिसे चीन ने हाल ही में हांगकांग में लॉन्च किया था और जिसमें पाकिस्तान पहले ही शामिल हो चुका है।

देखा जाए तो अब चीन की नज़र नेपाल पर है। इससे भारत की चिंता बढ़ना लाजिमी है।

आपको बता दें कि, हांगकांग में (आईओएमईडी) के उद्घाटन समारोह के दौरान चीनी विदेश मंत्री वांग यी ने नेपाल के विदेश मंत्री अर्जुन राणा देउबा से मुलाकात की

आईओएमईडी को चीन ने मध्यस्थता मंच के तौर पर पेश किया है। इसका उद्देश्य ग्लोबल साउथ के देशों को न्याय और स्थिरता का एक नया विकल्प देना है।

समारोह में 33 देशों ने समझौते पर हस्ताक्षर किए, जिनमें चीन के 'सदाबहार' दोस्त पाकिस्तान का नाम सबसे प्रमुख है।

इस मंच का मुख्यालय हांगकांग में होगा, जो खुद चीन के नियंत्रण में है।

हालांकि नेपाल ने अभी तक IOMed में अपनी भागीदारी की घोषणा नहीं की है,

लेकिन फोरम के शुभारंभ पर नेपाली विदेश मंत्री की उपस्थिति और चीन के साथ चल रही कूटनीतिक वार्ता से संकेत मिलता है कि बीजिंग ने दबाव बनाना शुरू कर दिया है।

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